मुंबई। पूर्व भारतीय ऑलराउंडर युवराज सिंह ने कहा कि इंग्लैंड के खिलाफ यादगार टेस्ट सीरीज ड्रा कराने वाले अपने शिष्य और भारतीय टीम के कप्तान शुभमन गिल पर मुझे गर्व है। युवराज ने गिल की प्रशंसा करते हुए कहा कि कैसे जुलाई 2025 के लिए आईसीसी पुरुष प्लेयर ऑफ द मंथ चुने गए शुभमन ने अपने विदेशी बल्लेबाजी रिकॉर्ड को लेकर सभी संदेहों को दूर करते हुए टीम की अगुवाई की।
युवराज ने महिला क्रिकेट विश्वकप के ‘50 डेज टू गो’ कार्यक्रम के अवसर पर आईसीसी डिजिटल से बातचीत में कहा, “उनके विदेशी रिकॉर्ड पर कई सवालिया निशान थे। वह कप्तान बने और उन्होंने चार टेस्ट शतक बनाए। यह अविश्वसनीय है कि जब आपको जिम्मेदारी दी जाती है, तो आप उसे कैसे लेते हैं।” उन्होंने कहा, “तो, मुझे उन पर बहुत गर्व है। मुझे लगता है कि यह हमारी जीत है, हालांकि यह एक ड्रॉ सीरीज है, क्योंकि यह एक युवा टीम है और इंग्लैंड में जाकर अच्छा खेलना और खुद को साबित करना आसान नहीं है।”
इस पांच टेस्ट मैचों की सीरीज में 75.40 की औसत से 754 रन बनाने वाले गिल को भारत का प्लेयर ऑफ द सीरीज चुना गया। इसमें चार शतक शामिल हैं। युवराज ने मैनचेस्टर में चौथा टेस्ट ड्रॉ कराने के लिए ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा और वाशिंगटन सुंदर की साहसिक और लंबी साझेदारी की भी प्रशंसा करते हुए कहा, “टूर्नामेंट में वह पल था जब भारत ने टेस्ट सीरीज ड्रॉ कराई। मैंने बहुत लंबे समय से वाशिंगटन और जडेजा को शतक बनाते और टेस्ट मैच ड्रॉ कराते नहीं देखा।” युवराज ने कहा, “यह बहुत कुछ कहता है। जाहिर है जडेजा लंबे समय से टीम में हैं। लेकिन मुझे लगता है कि वाशिंगटन सुंदर, एक युवा खिलाड़ी के रूप में टीम में आने के बाद, उन्होंने जो किया वह अविश्वसनीय था।”
युवराज ने माना कि पांच टेस्ट मैचों की सीरीज में भारत का मजबूत प्रदर्शन रहा। यह इसलिए भी खास है क्योंकि उन्होंने ऐसा रोहित शर्मा और विराट कोहली जैसे अनुभवी खिलाड़ियों की अनुपस्थिति में ऐसा किया। उन्होंने कहा, “मुझे लगता है कि यह शानदार है क्योंकि जब आपके पास इंग्लैंड जाने वाली युवा टीम होती है, तो बहुत दबाव होता है। आप विराट कोहली, रोहित शर्मा जैसे खिलाड़ियों की जगह ले रहे हैं, यह आसान नहीं है। मुझे लगता है कि खिलाड़ियों ने इसका डटकर सामना किया।”