नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने बिहार विशेष गहन पुनरीक्षण में 65 लाख मतदाताओं के मतदाता सूची से बाहर होने की आशंकाओं पर मंगलवार को मौखिक रूप से फिर कहा कि यदि ऐसा हुआ तो न्यायालय हस्तक्षेप करेगा। न्यायमूर्ति सूर्य कांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ ने एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स की ओर से पेश हुए अधिवक्ता प्रशांत भूषण की आशंका पर यह आश्वासन दिया।
पीठ के समक्ष अधिवक्ता भूषण ने निर्वाचन आयोग के इस बयान का जिक्र कि 65 लाख लोगों ने पुनरीक्षण प्रक्रिया के दौरान गणना फॉर्म जमा नहीं किए हैं। श्री भूषण ने कहा कि इससे उन मतदाताओं के मतदान के अधिकार से वंचित होने की आशंका है। शीर्ष अदालत बिहार विशेष गहन पुनरीक्षण को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई 12 और 13 अगस्त को अगली सुनवाई करने वाली है।