सुप्रीम कोर्ट ने बॉलीवुड अभिनेत्री और बीजेपी सांसद कंगना रनौत को सोशल मीडिया पर की गई एक टिप्पणी के मामले में राहत देने से इनकार कर दिया है। कोर्ट ने किसान आंदोलन से जुड़े मामले में कंगना द्वारा एक महिला प्रदर्शनकारी पर की गई विवादित टिप्पणी पर इनकार किया था। कोर्ट ने कंगना से कहा कि यह कोई साधारण पोस्ट नहीं था, बल्कि आपने इसमें 'मसाला' डाला।
क्यों लिया कंगना ने याचिका वापस?
सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस विक्रम नाथ और संदीप मेहता की बेंच ने कंगना की याचिका पर सुनवाई करने से मना कर दिया। कोर्ट की सख्ती देखने के बाद कंगना के वकील ने अपनी याचिका वापस ले ली। कंगना ने निचली अदालत में दर्ज हुई मानहानि की शिकायत को रद्द करने की मांग की थी, जो अब उन्हें वापस लेनी पड़ी है।
क्या है पूरा मामला?
यह मामला 2020-21 के किसान आंदोलन से जुड़ा है। 73 साल की महिंदर कौर ने जनवरी 2021 में बठिंडा की एक अदालत में कंगना के खिलाफ मानहानि की शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने आरोप लगाया था कि कंगना ने एक ट्वीट में उनके बारे में झूठे आरोप लगाए थे और उन्हें शाहीन बाग आंदोलन की 'दादी' बताया था, जिससे उनकी प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची।
कंगना ने इस मामले को रद्द कराने के लिए पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में याचिका लगाई थी, जिसे हाई कोर्ट ने भी 1 अगस्त को खारिज कर दिया था। हाई कोर्ट ने अपने आदेश में कहा था कि कंगना जैसी हस्ती के लिए ये आरोप लगाना गलत था और शिकायत दर्ज करना दुर्भावनापूर्ण नहीं कहा जा सकता। अब सुप्रीम कोर्ट से भी राहत न मिलने पर कंगना को निचली अदालत में इस मामले का सामना करना होगा।