नई दिल्ली: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने गुरुवार को राष्ट्रपति भवन में आयोजित रक्षा अलंकरण समारोह-1 के दौरान देश के जांबाज सैनिकों को शौर्य चक्र और अन्य वीरता पुरस्कारों से सम्मानित किया। यह सम्मान उन सैन्यकर्मियों को प्रदान किए गए जिन्होंने अत्यंत बहादुरी, साहस और बलिदान का परिचय दिया। समारोह का आयोजन राष्ट्रपति भवन के गणतंत्र मंडप में किया गया, जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह सहित तीनों सेनाओं के प्रमुख उपस्थित रहे। इस गरिमामय अवसर पर देश ने अपने उन बहादुर सैनिकों को श्रद्धांजलि और सम्मान दिया, जिन्होंने राष्ट्र की सुरक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी या असाधारण साहस का परिचय दिया।
शौर्य चक्र पाने वालों में स्क्वॉड्रन लीडर दीपक कुमार, राजपूत रेजिमेंट 44वीं बटालियन राष्ट्रीय रायफल्स के मेजर विजय वर्मा, डिप्टी कमांडेंट विक्रांत कुमार, पैराशूट रेजिमेंट के लेफ्टिनेंट कर्नल सीवीएस निखिल, आर्मी सर्विस कोर के मेजर तृप्तप्रीत सिंह, सीआरपीएफ के जेफरी हमिंगचुल्लो, इंस्पेक्टर (जीडी), जम्मू और कश्मीर पुलिस के स्पेशल पुलिस ऑफिसर अब्दुल लतीफ का नाम शामिल है। इनके अलावा जम्मू और कश्मीर रायफल्स 5वीं बटालियन के सूबेदार संजीव सिंह जसरोटिया, लेफ्टिनेंट कमांडर कपिल यादव, स्क्वाड्रन लीडर दीपक कुमार, द आर्टिलरी रेजिमेंट के सूबेदार पी. पबिन सिंगा, कर्नल पवन सिंह, 666 आर्मी एविएशन स्क्वॉड्रन, विंग कमांडर वर्नोन डेसमंड कीन, मेजर साहिल रंधावा को शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया। लेफ्टिनेंट कमांडर कपिल यादव, एईओ आईएनएस विशाखापट्टनम और आर्मी सर्विस कोप्र्स 34 राष्ट्रीय रायफल्स के मेजर तृप्तप्रीत सिंह को भी राष्ट्रपति ने शौर्य चक्र से सम्मानित किया।
शहीद जवानों के परिवार गले लगाए
इस दौरान राष्ट्रपति ने द सिख लाइट इन्फैंट्री 19 राष्ट्रीय रायफल्स सिपाही प्रदीप सिंह और मेजर आशीष ढोंचक (सेना मेडल) को मरणोपरांत शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया। समारोह के दौरान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू दो बार डाइस से नीचे उतरकर शहीद जवान के परिवारों को गले से लगाया।