लखनऊ; समाजवादी पार्टी के दफ्तर पर होर्डिंग में बाबा साहेब डा. भीमराव अंबेडकर की आधी तस्वीर काटकर उस हिस्से में अखिलेश यादव की तस्वीर लगाए जाने पर बवाल मच गया है। भारतीय जनता पार्टी ने सपा अध्यक्ष के इस पोस्टर को लेकर सवाल उठाए हैं और उसे बाबा साहेब का अपमान बताया है। वहीं मायावती ने भी अखिलेश के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। बीजेपी और बीएसपी ने इसे बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर का अपमान बताया है। मायावती ने बुधवार को एक्स पर पोस्ट कर लिखा है कि बाबा साहेब भीमराव अंंबेडकर का यह अपमान उनकी पार्टी नहीं सहेगी और बसपा इस मुद्दे पर सडक़ पर उतर सकती है। उधर, उत्तर प्रदेश अनुसूचित जाति और जनजाति आयोग ने सख्त रुख अपना लिया है। आयोग ने यह होर्डिंग लगवाने वाले सपा लोहिया वाहिनी के नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। आयोग के अध्यक्ष बैजनाथ रावत ने बुधवार को कहा कि यह बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर और अनुसूचित जाति जनजाति के लोगों का अपमान है।
उन्होंने इस मामले में मुकदमा दर्ज कर पांच मई तक कार्रवाई की मांग की है। इस होर्डिंग पर भडक़ी भाजपा ने बुणवार को प्रदेश के सभी जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन किया। पूर्व की विभिन्न घटनाओं का उल्लेख करते हुए भाजपा नेता समाजवादी पार्टी और अखिलेश यादव पर दलित विरोधी रवैए का आरोप लगा रहे हैं। उनकी मांग है कि अखिलेश, बाबा साहेब के साथ आधी फोटो वाले होर्डिंग-पोस्टर के लिए माफी मांगें। बुधवार को भाजपा के प्रदर्शन के दौरान मौजूद रहे राज्यसभा सांसद बृजलाल ने कहा कि सपा कार्यालय पर भारत रत्न डा. भीमराव अंबेडकर के आधे चित्र के साथ अखिलेश यादव का आधा चित्र लगाकर उन्हें बाबा साहेब के बराबर दिखाने की कोशिश की गई है। यही नहीं वही चित्र लोहिया वाहिनी के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने अखिलेश यादव को भेंट भी किया है। यह बहुत ही शर्मनाक है। उन्होंने आरोप लगाया कि समाजवादी पार्टी और अखिलेश यादव हमेशा से बाबा साहेब का अपमान करते रहे हैं। मायावती के भतीजे आकाश आनंद ने समाजवादी पार्टी के पोस्टर को लेकर सीधे अखिलेश यादव पर ही हमला बोल दिया है। सपा और अखिलेश यादव को दलित विरोधी बताते हुए इन से सावधान रहने की अपील की है।